इंटरपोल ने देश की सुरक्षा एजेंसियों को साइबर हमलों और डेटा चोरी के बाद साइबर ठगों से सावधान रहने की चेतावनी दी है, क्योंकि कोविद अवधि के दौरान दुनिया भर में ऐसी घटनाएं सामने आई हैं। करीब 350 फीसदी की बढ़ोतरी। इंटरनेट एक आवश्यकता के साथ-साथ समय की आवश्यकता भी बन गया है। एक आंकड़े के अनुसार, घर से काम करने की संख्या, आभासी बैठकें, ऑनलाइन शिक्षा और डिजिटल लेनदेन में लगभग 60 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।


लेकिन इसके साथ, रैंसमवेयर के जरिए साइबर हमले, हैकिंग और ब्लैकमेलिंग की घटनाएं भी बढ़ रही हैं। इंटरपोल ने देश की सुरक्षा एजेंसियों को चेतावनी दी है कि विभिन्न देशों से प्राप्त शिकायतों के आधार पर दुनिया भर में साइबर अपराध की घटनाओं में 350 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। इंटरपोल के अनुसार, कॉरपोरेट्स और निजी संगठन साइबर हमलों और फिरौती जैसी घटनाओं के बारे में सतर्क हैं, लेकिन नए उपयोगकर्ताओं की सुरक्षा सबसे बड़ी चुनौती है।


एक आंकड़े के अनुसार, साइबर अपराधियों ने पिछले साल लगभग 24 24 बिलियन की फिरौती दी। इनमें से ज्यादातर घटनाओं को चीन और ईरान जैसे देशों में स्थित हैकर्स ने अंजाम दिया है। रिपोर्ट के नुसार, हैकर्स के निशाने पर इस समय अमेरिका, यूरोप और भारत जैसे देश है और कभी भी इन देशों में साइबर अटैक हो सकता है।


इसके बाद अब देश के तमाम टेक्नोलॉजी विशेषज्ञों का कहना है कि इस तरह की घटनाओं के खिलाफ कानून को सख्त करने की जरूरत है और लोगों को जागरूक करने की जरूरत है और जीतनी जल्दी इससे निपटारा पा लिया जाए उतना अच्छा है।

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