इंटरनेट डेस्क। पाकिस्तान के नए प्रधानमंत्री इमरान खान राष्ट्र के नाम अपने पहले संबोधन में कहा कि पिछले 10 सालों में देश का जितना कर्ज बढ़ा है, शायद उतना पाकिस्तान के इतिहास में कभी नहीं रहा। उन्होंने कहा कि पिछले कुछ सालों में यह देश कर्ज संकट में फंसता गया। वर्तमान में पाकिस्तान का यह कर्ज बढ़कर 28000 अरब रुपए पहुंच चुका है।

दोस्तों, आपको बता दें कि पाकिस्तान अपनी कमाई का आधा हिस्सा केवल कर्ज की किश्त और ब्याज चुकाने में अदा कर देता है। कमाई का शेष हिस्सा सरकारी तंत्र के वेतन और रक्षा बजट पर खर्च कर देता है। ऐसे में इस देश के पास इंफ्रास्‍ट्रक्‍चर और डेवलपमेंट के नाम पर एक भी पैसा नहीं बचता है।

पाकिस्तान अपने कुल राजस्व का 44 फीसदी हिस्‍सा डेट सर्विस पर खर्च करता है। जानकारी के लिए बता दें कि पाकिस्तान का हर आदमी प्रति वर्ष 6,684 रुपए केवल ब्याज चुकाता है। गौरतलब है कि पूरे पाकिस्तान में केवल 5 लाख लोग टैक्‍स अदा करते हैं।

पाकिस्तान की सरकार पर्याप्त टैक्स एकत्र नहीं कर पाती है। ऐसे में इस घाटे को पूरा करने के लिए यह देश महंगे ब्याज पर कर्ज लेता है। सोचने वाली बात यह है कि पाकिस्तान के कुल कर्ज में तीसरा भाग विदेशी है, जबकि दो तिहाई कर्ज पाकिस्‍तान घरेलू बाजार से प्राप्त करता है। यह कर्ज उसे काफी महंगा पड़ता है। घरेलू बाजार से लिए कर्ज के लिए पाकिस्तान की सरकार सालाना 10.7 फीसदी तक ब्‍याज चुकाती है, जब कि विदेशी कर्ज पर वह केवल 1.9 फीसदी इंटरेस्‍ट चुकाती है।

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