पीरियड्स के दौरान महिलाएं सैनेटरी पैड और टैम्पोन का इस्तेमाल करती हैं, लेकिन इन चीजों के गलत इस्तेमाल के कारण महिलाओं को गुप्तांगों बीमारी हो सकती है, इससे बचने के लिए हमें पैड के इस्तेमाल को लेकर कुछ विशेष बातों का ख्याल रखना चाहिए।

समय समय पर पैड बदले क्योकि लम्बे समय तक नमी और गर्मी प्राप्त होती रहती है, तो ये पेशाब से जुड़ी परेशानियां, रैशेज और वेजाइनल इंफेक्शन पैदा करते हैं।

पैड बदलने का आदर्श समय हर 6 घंटे के बाद माना जाता है, जबकि टैम्पोन को हर दो घंटे में बदल देना चाहिए। आप अपनी जरूरत के हिसाब से भी चेंज करती रहें। जिन महिलाओं को अत्यधिक बहाव होता उन्हें बार-बार पैड बदलना चाहिए।

कम फ्लो वाले दिनों में आपका पैड या टैम्पोन पूरी तरह से साफ दिखता है, लेकिन फिर भी नियमित समय पर उसे चेंज करती रहें। अगर आप टैम्पोन को प्रयोग कर रही हैं, तो आपको थोड़ी सावधानी बरतने की भी जरूरत होगी, क्योंकि लंबे समय तक टैम्पोन यूं हीं पड़ा रहा, तो टॉक्सिक शॉक सिंड्रोम या टीएसएस की स्थिति बन जाएगी। टीएसएस एक ऐसा सिंड्रोम है, जहां बैक्टीरिया शरीर के अंदर प्रवेश कर गंभीर इंफेक्शन पैदा कर सकते हैं।

अगर पा पैड के साथ टेम्पोन इस्तेमाल कर रही हैं, तो इससे टीएसएस का खतरा हो सकता है। अगर आप पैड के साथ किसी कपड़े का इस्तेमाल कर रही हैं, तो उस कपड़े का साफ होना बहुत ज़रूरी है क्योंकि कपड़ा साफ नहीं होने पर वह आपके प्राइवेट एरिया को नुकसान पहुंचा सकता है।

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