रविवार को बर्मिंघम में खेले गए विश्वकप में भारत और इंग्लैंड के बीच मुकाबले में भारत को 31 रनों से शिकस्त मिली है. इस हार का ठीकरा पूर्व भारतीय क्रिकेटर सौरव गांगुली ने महेंन्द्र सिंह धोनी और केदार जाधव पर फोड़ा है. यह मैच बर्मिंघम में खेला गया.

विश्व कप में 6 मैचों में विजय प्राप्त करने के बाद एडबास्टन में भारत की इग्लैंड से पहली हार हुई. इस मैच में इंग्लैंड की तरफ से पार्टनरशिप में जॉसन राय और जोनी बैरिस्टो और बेन स्टोकस्ज ने बैटिंग में शानदार पारी खेली. इन तीनों की शानदार पारी से इंग्लैंड टीम को 337 का स्कोर प्राप्त करने में मदद मिली.

वहीं अगर इंडिया की बात करें तो इंडिया ने मैच की शुरुआत में बहुत जल्दी ही एक विकेट के एल राहुल को खो दिया. इस तरह ब्लु जर्सी ने रन लेना बहुत धीरे और बाद में शुरु किया और भारतीय स्कीपर विराट कोहली और रोहित शर्मा ने स्कोरबोर्ड पर टिके रहे. जबकि पहले के स्कोर की सफलता की बात करें तो विराट कोहली की पांचवीं सफलता विश्व कप के अंदर 50 की थी. इसके बाद भारत को मैच में स्कोर लेने में काफी मदद मिली.

बतादें, दो बार वर्ल्ड कप में विनर रहे हार्दिक पंड्या और रिषभ पंत ने रिस्क के साथ रन लेने की शुरुआत की. 40 वें ओवर के खत्म होते होते ये अंदाजा लग गया था कि इंडिया मैच हार रहा है. महेंद्र सिंह धोनी और केदार जाधव दोनों मैच में खुद को साबुत करने में पूरी तरह फेर रहे.

भारत की और से जीत की कोई उम्मीद नहीं दिखने पर कमेंट्री बॉक्स से नासर हसन और सौरव गांगुली निराश दिखे.

कमेंट्री बॉक्स से नासर हसन ने कहा कि ‘’मैं पूरी तरह हैरान हूं ये क्या हो रहा है? यह वह नहीं है जिसकी इंडिया को जरूरत है. उन्हें रनों की जरूरत है. वो क्या कर रहे हैं? कुछ भारतीय फैंस मैदान छोड़कर जा रहे हैं. निश्चित तौर पर वो धोनी को शॉट लगाते हुए देखना चाहते हैं. अगर वह हवा में बॉल उछाले. .यह विश्व कप है दो धुरंधर टीमों के बीच, इसे जाने दो! भारतीय फैंस चाहते होंगे उनकी तरफ से थोड़ा और अच्छा प्रदर्शन हो. वे उनकी तरफ से भारी फाइट की उम्मीद रखते हैं, जीत का जोखिम लो’’.

वहीं सौरव गांगुली ने कहा कि ‘’मेरे पास इसके लिए कोई व्यख्या नहीं है. तुमने सवाल पूछा लेकिन मैं इसे व्यक्त नहीं कर सकता. यह भी लंबी और और ऊबाऊ है जो भारतीय टीम ने निराश किया है. तुम 338 रन प्राक्त नहीं कर सकते जबकी अभी तुम्हारे पास 5 विकेट हैं. यह पूरी तरह आपके सोचने की क्षमता पर निर्भर करता है कि आप खेल को किस तरह देखते हैं. मैसेज बिल्कुल क्लीयर है, यह मायने नहीं रखता कि यह आये और ये भी कोई मायने नहीं रखता कि बॉल कहां गिरेगी, तुम्हें तो बाउंड्री ढूंढनी होगी. इस समय एक स्थिर बॉल!’’

गांगुली ने कहा कि शुरुआती 10 ओवर और आखिरी के 6 ओवर में काफी उम्मीदें थी. हालांकि अब वे चले जाएंगे और इसका प्रभाव छोड़ जाएंगे. क्योंकि वर्ल्ड कप में उनका प्रदर्शन बहुत शानदार रहा. खैर स्कोर बहुत ज्यादा अच्छा नहीं कहा जा सकता. मैं खुश होता अगर इंडिया 300 पर आउट हो जाता. यह स्थिति फिर से हो सकती है और अब उन्हें सफलता के लिए दूसरा रास्ता चुनना होगा पहले और आखिरी के 10 ओवर में’’’.

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