भारतीय स्पिनर हरभजन सिंह ने पिछले हफ्ते अपने क्रिकेट कैरियर को अलविदा कह दिया कि 1998 में भारतीय क्रिकेट टीम में डेब्यू करने वाले हरभजन 103 टेस्ट, 236 वनडे और 28 टी20 इंटरनेशनल मैच खेले हैं लगभग 2 दशकों तक टीम के लगातार सदस्य बने रहने वाले हरभजन सिंह ने 2011 में टीम में अपनी जगह को खो दिया इसके बाद अगले 5 वर्षों तक में भारतीय टीम के अनियमित सदस्य बने रहे।

हरभजन सिंह ने 2011 विश्व कप के बाद केवल 10 वनडे और 10 टेस्ट खेले हैं उन्हें 2013 चैंपियंस ट्रॉफी और 2015 विश्वकप के लिए टीम में शामिल नहीं किया गया था टीम में शामिल नहीं किए जाने को लेकर संन्यास के बाद हरभजन सिंह ने अपनी चुप्पी तोड़ी है उन्होंने कहा कि 400 विकेट लेने वाले किसी व्यक्ति को कैसे आउट किया जा सकता है यह अपने आप में एक रहस्यमई कहानी है जो अभी तक सामने नहीं आई है।


मुझे अभी भी आश्चर्य है कि वास्तव में हुआ क्या मेरी टीम में बने रहने से किसी को दिक्कत थी उन्होंने एक इंटरव्यू में बताया कि उन्होंने पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी की अनुपस्थिति के कारण भी पूछने की कोशिश की थी लेकिन कोई जवाब नहीं मिला एक बार जब उन्हें एहसास हुआ कि जवाब मांगने का कोई मतलब नहीं है तो फिर हरभजन ने कारण पूछना बंद कर दिया।

उन्होंने कहा कि मैंने कप्तान से पूछने की काफी कोशिश की थी लेकिन कोई कारण नहीं बताया गया मुझे एहसास हुआ कि इसका कारण पूछने का कोई मतलब नहीं है अगर क्योंकि अगर आप पूछते रहते हैं तो कोई जवाब नहीं देता है तो उसे छोड़ देना ही बेहतर है।

Related News