पुलवामा आतंकी हमले में सीआरपीएफ के 40 जवानों की शहादत के बाद से देशभर में पाकिस्तान के विरूद्ध आक्रोश व्याप्त है। बता दें कि जिस तरह से भारतीय सेना देश की सरहदों की सुरक्षा करती है, ठीक उसी तरह भारत की आतंरिक सुरक्षा की जिम्मेदारी सीआरपीएफ के जवान संभालते हैं। इस स्टोरी में हम आपको सीआरपीएफ यानि केंद्रीय रिज़र्व पुलिस बल से जुड़ी कुछ खास बातें बताने जा रहे हैं।

1. सीआरपीएफ देश का सबसे बड़ा अर्द्ध सैनिक बल है। मौजूदा समय में सीआरपीएफ सैनिकों की कुल संख्या तीन लाख चौदह हजार से ज्यादा है।

2. 27 जुलाई, 1939 को सीआरपी का गठन किया गया था। आजादी के बाद सीआरपी का नवीनीकरण कर इसका नाम बदलकर सीआरपीएफ कर दिया गया। तब से लेकर आज सीआरपीएफ देश की सुरक्षा में जुटी हुई है। सीआरपीएफ ने इंडियन आर्मी के साथ मिलकर हर बड़े युद्ध में मोर्चा भी संभाला है।

3. देश में चुनाव का तनावपूर्ण माहौल हो, आपात स्थितियां हो या फिर नक्सलियों से निपटना हो सीआरपीएफ के जवान बड़ी मुस्तैदी से ऑपरेशन को अंजाम देते हैं।

4. भारत-तिब्बत सुरक्षा बल और सीमा सुरक्षा बल की स्थापना से पहले सीआरपीएफ के जवान ही पाकिस्तान और चीन की सीमाओं पर सुरक्षा की ज़िम्मेदारी संभाले हुए थे।

5. बता दें कि सीआरपीएफ में महिलाओं की भी तीन बटालियन हैं। उत्तर-पूर्व के राज्यों सहित जम्मू-कश्मीर में भी इनकी तैनाती होती है, जहां ये महिला सुरक्षाकर्मी अपनी ड्यूटी को बखूबी अंजाम देती हैं।

6. भारत के बेहतरीन कमांडो में से एक सीआरपीएफ की कोबरा स्पेशल फोर्स भी है। कोबरा कमांडो नक्सल विरोधी ऑपरेशन, छद्म युद्ध तथा जंगल के इलाको में ऑपरेशन को अंजाम देने में निपुण होते हैं।

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