भारत में अगर राजनीति के रूप से देखा जाए तो सबसे सर्वोच्च पद प्रधानमंत्री एवं राष्ट्रपति काहोता है। राष्ट्रपति को देश का प्रथम नागरिक एवं देश का मुखिया माना जाता है एवं देश की सरकार का मुख्य प्रधानमंत्री हुआ करता है। पर वही भारतीय संविधान के अनुसार देश चलाने वाले प्रधानमंत्री होता है।

वहीं दूसरी और राष्ट्रपति के पास अधिकतर मुद्दों पर अपनी सहमति देनी होती है लेकिन उनके पास जल थल एवं वायु सेना की प्रमुख होने का दारोमदार होता है एवं आपातकाल की स्थिति में प्रधानमंत्री को राष्ट्रपति की सलाह सूचक लेकर ही आगे कार्य करना होता है।

लेकिन अब सवाल यह है कि कि क्या प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति भी आम आदमी जैसे छुट्टी लेकर कभी आराम फरमा सकते हैं या इसे लेकर भी कोई नियम कायदे संविधान में बनाए गए हैं या नहीं।

राष्ट्रपति की बात करें तो राष्ट्रपति को देश के प्रथम नागरिक होने का दर्जा प्राप्त है और इसी के चलते उन्हें सारी सरकारी सुविधाएं भी दी जाती है वेतन भी दिया जाता है और इसके साथ साथ रहने के लिए राष्ट्रपति भवन और लाखों नौकर चाकर उनकी सेवा में हाजिर होते हैं।

हालांकि नियमों की बात करें तो राष्ट्रपति को घर एवं मुख्य चिकित्सा सुविधाओं के साथ-साथ कुछ छुट्टियां भी मिलती है प्रेसिडेंट छुट्टी लेकर अपना आराम का समय बता सकते हैं।

वहीं प्रधानमंत्री की बात करें तो इसे लेकर कोई स्पष्ट बात सामने नहीं आती है लेकिन यह कहा जा सकता है कि प्रधानमंत्री को अधिकारिक तौर पर किसी भी प्रकार की कोई छुट्टी नहीं मिलती है। कुछ समय पहले इसी को लेकर एक आरटीआई भी दाखिल की गई थी जिसमें पीएमओ से यह पूछा गया था कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा कितनी छुट्टियां ली गई है जिसका जवाब दे दिया गया था कि प्रधानमंत्री मोदी द्वारा कोई भी छुट्टी नहीं ली गई है।

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