शिमला: हिमाचल प्रदेश विधानसभा के मानसून सत्र के सातवें दिन मंगलवार को विपक्षी अध्यक्ष विपिन सिंह सदन शुरू होने से पहले चैंबर के बाहर धरने पर बैठ गए। तब बेनामी संपत्ति मामले पर काम रोक दिया गया और नियम 67 के तहत स्थगन प्रस्ताव को फिर से जारी करने की मांग की गई। सदन में स्पीकर की टिप्पणी आने के बाद, विपक्ष सदन से बाहर चला गया जब उसने कहा कि वह वार्ता का फैसला कर सकता है।

कांग्रेस विधायक दल के इस रवैये की सीएम जयराम ठाकुर और संसदीय कार्य मंत्री ने निंदा की। उन्होंने कहा कि विपक्ष केवल खबर बनाने के लिए ऐसा कर रहा है। इसके बाद विपक्ष की अनुपस्थिति में प्रश्नकाल शुरू किया गया। सातवें दिन की कार्यवाही शुरू होने से पहले, विपक्ष के नेता, मुकेश अग्निहोत्री, विपक्ष के नेता, स्पीकर विपिन सिंह परमार के कक्ष के बाहर धरने पर बैठ गए।

कांग्रेस विधायक ने यह भी आरोप लगाया कि सरकार विपक्ष की आवाज को दबा रही है। मीडिया पर भी खबर प्रकाशित न करने का दबाव बनाया जा रहा है। सदन के अंदर भी विपक्ष द्वारा चर्चा नहीं की जा रही है। तब स्पीकर ने विपक्षी सदस्यों को अंदर बुलाया और उनसे बात की। बाहर आने पर विपक्ष के नेता मुकेश अग्निहोत्री ने मीडिया को बताया कि सदन में विपक्ष की आवाज को दबाया जा रहा था। अंदर की चर्चा कार्यवाही से हटाई जा रही है। मीडिया पर भी इसे सार्वजनिक रूप से न करने का दबाव बनाया जा रहा है। उस पर युद्ध छिड़ा है।

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