देश के वरिष्ठ नेता और पूर्व वित्त मंत्री अरुण जेटली अब हमरे बीच नहीं रहे। अरुण जेटली का लंबी बीमारी के बाद शनिवार को दिल्ली के एम्स में 66 वर्ष की आयु में निधन हो गया। उनके पार्थिव शरीर को गन कैरिज से अंतिम सफर पर ले जाया गया। दरअसल, प्रधानमंत्री, रक्षा मंत्री और राष्ट्रपति के पार्थिव शरीर को गन कैरिज से ले जाने का नियम है।

लेकिन अरुण जेटली जी का पार्थिव शरीर को गन कैरिज इसलिए ले जाया गया क्योकि मोदी सरकार के पहले कार्यकाल में रक्षा मंत्री की जिम्मेदारी भी संभाल चुके हैं, इसलिए शनिवार को निधन के बाद रविवार को अंतिम संस्कार से पहले उनके पार्थिव शरीर को गन कैरिज पर रखा गया।

अरुण जेटली के पार्थिव शरीर को रविवार सुबह कैलाश कॉलोनी स्थित उनके आवास से जनता के दर्शन के लिए बीजेपी मुख्यालय में लाया गया। गृह मंत्री अमित शाह और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह सहित पार्टी के वरिष्ठ नेताओं ने लाल रंग के ताबूत में रखे गए जेटली के पार्थिव शरीर पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी।

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