महात्मा गाँधीजी भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन के एक प्रमुख राजनैतिक एवं आध्यात्मिक नेता थे। वे सत्याग्रह के माध्यम से अत्याचार के प्रतिकार के अग्रणी नेता थे, उनकी इस अवधारणा की नींव सम्पूर्ण अहिंसा के सिद्धान्त पर रखी गयी थी जिसने भारत को आजादी दिलाकर पूरी दुनिया में जनता के नागरिक अधिकारों एवं स्वतन्त्रता के प्रति आन्दोलन के लिये प्रेरित किया।

लेकिन फिर भी आज लोग महात्मा गांधी की निंदा करते हैं,कोई कहता है महात्मा गांधी अश्लील थे, तो कोई महात्मा की निंदा सबसे अधिक उनके सेक्स और ब्रह्मचर्य के प्रयोगों पर होती है।

वैसे आपको बता दे कि राज कमल प्रकाशन से प्रकाशित किशन पटनायक की पुस्‍तक विकल्‍पहीन नही है दुनिया के पृष्‍ठ संख्‍या 101 में गांधी और एक स्‍त्री के बारे में बताया गया है कि महात्मा गांधी का किसी स्‍त्री के साथ संबध रहा है।

इस पुस्तक में पदमजा नायडू जी के बारें में बताया गया है कि महात्मा गांधी और पदमजी नायडू एक दूसरे से प्यार करते थे, खुद महात्मा गाँधीजी सबसे सामने पत्र में स्वीकार करते हैं कि हाँ वह पदमजा नायडू से प्रेम करते हैं।

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