भारतीय नौसेना की 5 ताकतवर पनडुब्बियां, किसी भी वक्त युद्ध का पासा पलटने में सक्षम
इंडियन आर्मी, नेवी, एयरफोर्स से जुड़ी रोचक खबरों के लिए हमें फॉलो करना ना भूलें, यह खबर आपको कैसी लगी कमेंट करके हमें बताएं।
दोस्तों, आपको जानकारी के लिए बता दें कि भारतीय नौसेना देश की कई किलोमीटर लंबी समुद्री सीमा पर अपनी कड़ी निगाह रखती है। इंडियन नेवी में मौजूद कई शक्तिशाली युद्धपोत और पनडुब्बियां किसी भी वक्त अपने लक्ष्य को नष्ट करने में सक्षम हैं।
बता दें कि जिस नौसेना में जितनी ज्यादा पनडुब्बियां होती हैं, वह उतनी ही ताकतवर मानी जाती है। क्योंकि दुश्मन की सीमा में घुसकर उन्हें अपना निशाना बनाना और फिर सकुशल वापस लौट आना, ऐसा रोचक कारनामा केवल शक्तिशाली पनडुब्बियां ही कर सकती हैं।
इस स्टोरी में हम आपको भारतीय नौसेना की पांच प्रमुख पनडुब्बियों से जुड़ी रोचक बातें बताने जा रहे हैं।
1- आईएनएस कलवरी
आईएनएस कलवरी भारतीय नौसेना में शामिल स्कॉर्पिन श्रेणी की पनडुब्बी है। इस पनडुब्बी का वजन 1,870 टन है। अत्याधुनिक सुविधाओं से युक्त यह पनडुब्बी दुश्मन को चकमा देने में माहिर है। इतना ही नहीं यह लेजर गाइडेड हथियारों के माध्यम से अपने लक्ष्य को निशाना बनाने में भी सक्षम है। यह पनडुब्बी पानी के अंदर तथा सतह पर टॉरपीडो, एंटी-शिप मिसाइल के माध्यम से हमला कर सकती है।
2- आईएनएस अरिहंत
भारत की पहली स्वदेशी पनडुब्बी आईएनएस अरिहंत का वजन 6,000 टन है। एडवांस सोनार प्रणाली से युक्त इस पनडुब्बी में सतह और आकाश के बाद जल के भीतर से परमाणु वार करने की क्षमता है। इस पनडुब्बी को बनाने में 2.9 अरब अमेरिका डॉलर की लागत आई थी। भारत विश्व का छठवां देश है, जिसके पास इस तरह की ताकत है।
3- आईएनएस सिंधुघोष
भारतीय नौसेना में शामिल सिंधुघोष श्रेणी की पनडुब्बियां डीज़ल-बिजली चालित सबमरीन हैं। इसे रूस और भारत के बीच हुए समझौते के तहत तैयार किया गया। आईएनएस सिंधुघोष की विस्थापन क्षमता 3,000 टन है। यह सबमरीन 53 नाविकों के साथ यह 45 दिन तक अकेले ऑपरेट कर सकती है। इन पनडुब्बियों के सिंधुघोष, सिंधुध्वज, सिंधुराज, सिंधुवीर जैसे कई वर्जन हैं।
4- आईएनएस चक्र-२
आईएनएस चक्र-2 को भारतीय नौसेना की सबसे बड़ी ताकत वाली पनडुब्बी कहा जाता है। यह सबमरीन अपनी निगाहें हिन्द महासागर और अरब सागर में जमाए रखती है। रूस निर्मित इस पनडुब्बी को 4 अप्रैल 2014 को भारतीय नौसेना में शामिल किया गया था।
5- आईएनएस खांदेरी
12 जनवरी 2017 को भारतीय नौसेना में शामिल आईएनएस खांदेरी किसी भी मौसम में अपने लक्ष्य को निशाना बनाने में माहिर है। हर एडवांस सबमरीन की तरह आईएनएस खांदेरी में भी एंटी सरफेस और एंटी सबमरीन, खुफिया सूचनाएं जुटाना, माइन बिछाना, इलाके की निगरानी करने की क्षमता मौजूद है।