महामारी के इस दौर में हम सबकी मेन्टल हेल्थ ख़राब हैं। आज इंटरनेशनल डांस डे के मौके पर हम सबको डांस को एक थेरेपी की तरह लेना चाहिए। वैसे तो इस दिन को मनाने का मकसद यही है कि नृत्य की शिक्षा और इसके आयोजनों में भागीदारी के लिए लोगों को प्रोत्‍साहित किया जाए, लेकिन इस समय बढ़ते कोरोना संक्रमण के बीच बाहर निकलना या कोई आयोजन होना तो बेहतर नहीं कहा जा सकता, लेकिन डांस तनाव से मुक्‍त रखने के साथ सेहत के लिए भी फायदेमंद होता है, इस बात से भी इंकार नहीं किया जा सकता. ऐसे में आप नृत्‍य को अपने रूटीन में शामिल करके इससे फायदा उठा सकते हैं और अपनी सेहत बेहतर रख सकते हैं।

- आज कल अकेलापन और डिप्रेशन इनसे ज्‍यादातर लोग पीड़ित हैं. ऐसे में डांस अच्‍छा विकल्‍प हो सकता है. यह तनाव दूर करता है और इससे डिप्रेशन भी दूर होता हैं।

- जब आप डांस करते हैं तो इससे शरीर में थकावट पैदा होती है और फिर नींद अच्‍छी आती है. ऐसे में जो लोग अनिद्रा की समस्‍या से जूझ रहे हैं उनके लिए डांस एक बेहतर ऑप्‍शन है।

- जोड़ों में दर्द की समस्‍या से भी छुटकारा मिलता है, क्‍योंकि जब आप नियमित तौर पर डांस करते हैं तो इससे बॉडी फ्लैक्सिबल हो जाती है. ऐसे में जोड़ों में दर्द की समस्या से बचे रहते हैं।

- नियमित तौर पर नृत्‍य की आदत फायदा पहुंचाएगी. अगर यह कहें कि डांस एक तरह की थेरेपी है, तो गलत नहीं होगा, क्योंकि इससे कैलोरी तेजी से बर्न होने लगती है।

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