कभी नहीं बन सकता राम मंदिर! अब इस नई मुसीबत की वजह से कैसे होगा भव्य मंदिर का निर्माण
हिंदू धर्म के प्रमुख तीर्थ क्षेत्र अयोध्या में सुप्रीम कोर्ट द्वारा दिए गए फैसले के बाद राम मंदिर निर्माण का रास्ता साफ हो गया है। लोगो के मंदिर बनने की उत्सुक्ता अभी से है, लेकिन इसके बाद भी अब एक नई मुसीबत सामने आ गई है, जिससे मंदिर निर्माण में परेशानी हो सकती है। श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र को इलाके के नौ मुस्लिम लोगों ने चिट्ठी लिखी है। उन्होंने अपील की है कि मुस्लिमों की कब्र पर नया राम मंदिर ना बनाएं।
चिट्ठी में कहा गया है कि ‘बाबरी मस्जिद के आसपास 1480 वर्ग मीटर के क्षेत्र में नया राम मंदिर ना बनाएं।’ इस चिट्ठी में ये भी कहा गया है कि सरकार द्वारा 67 एकड़ की जमीन राम मंदिर के लिए उपयोग करना मुस्लिमों के दावे को ‘पूरी तरह से छीनना’ और कानून के विपरीत है।
9 मुस्लिम नागरिकों ने वकील के माध्यम से ट्रस्ट को भेजी गई चिट्ठी में कहा है कि’ केंद्र सरकार की ओर से साल 1993 में अयोध्या में अधिग्रहित की गई 67 एकड़ जमीन सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद सरकार ने राम मंदिर निर्माण के लिए दी है। इस जमीन पर मुस्लिमों की कब्र थीं। केंद्र ने इस पर विचार ही नहीं किया कि मुस्लिमों की कब्र पर भव्य राम मंदिर नहीं बन सकता। यह धर्म के खिलाफ है।