पर्यावरणीय प्रभाव के रूप में, जालसाजी और अन्य मुद्दों ने कागजी मुद्रा को प्रभावित किया है, इसलिए कई देशों ने बहुलक या प्लास्टिक नोटों का विकल्प चुना है। दुनिया भर में ऐसे 20 से ज्यादा देश हैं जहाँ पर प्लास्टिक करंसी का इस्तेमाल किया जाता है

कनाडा, फिजी, ऑस्ट्रेलिया, मॉरीशस, न्यूजीलैंड, पापुआ न्यू गिनी, रोमानिया, वियतनाम और ब्रिटेन सहित कम से कम 20 देश बहुलक मुद्रा का उपयोग कर रहे हैं। 2011 में बैंक ऑफ कनाडा के एक अध्ययन के अनुसार, एक पॉलिमर नोट में ग्लोबल वार्मिंग में 32 प्रतिशत की कमी और कागज के नोटों की तुलना में ऊर्जा की मांग में 30 प्रतिशत की कमी का आश्वासन दिया गया है।

आज हम आपको ऐसे 6 देशों के बारे में बताने जा रहे हैं। प्लास्टिक के नोट पहली बार ऑस्ट्रेलिया द्वारा 1988 में जारी किए गए थे।

1.वियतनाम


वियतनाम की मुद्रा का नाम डोंग है। यहां पहली बार 2003 में प्लास्टिक के नोट की शुरुआत हुई। इन नोट्स का इस्तेमाल यहाँ पर कई समय से किया जा रहा है।

2.रोमानिया

रोमानिया में प्लास्टिक के नोटों का संचालन 2005 में हुआ था। यूरोप का ये एक अकेला देश है जहाँ पर प्लास्टिक से बने नोट चलन में हैं।

3.ऑस्ट्रेलिया


जैसा कि हमने आपको पहले बताया कि ऑस्ट्रेलिया दुनिया का पहला ऐसा देश है जिसने सबसे पहले 1988 में ही प्लास्टिक के नोटों को अपनाया था। तब से अब तक यहाँ पर प्लास्टिक नोट ही चलते हैं।

4.न्यूज़ीलैंड


साल 1999 के दौरान न्यूज़ीलैंड में सारे कागज के नोटों की जगह प्लास्टिक के नोटों ने ले ली। तब से यहाँ भी प्लास्टिक के नोट चलते हैं।

5.पपुआ न्यू गिनी


19 अप्रैल 1975 को पापुआ न्यू गिनी में कीना के रूप में नई मुद्रा अपनाई गई थी। आज यहां सारे नोट प्लास्टिक से बने होते हैं।

6.ब्रूनेई


देश में बढ़ती समस्या को देखते हुए प्लास्टिक के नोटों का प्रचलन हुआ था। अब यहां भी सारे नोट प्लास्टिक से बनाए जाते हैं।

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