भारत जैसे हमेशा कहा जाता है कि यह विविधताओं का देश है और यहां पर अलग-अलग भाषा बोली और रीति-रिवाज और अलग-अलग तरह से जीने के लोग वाले लोग रहते हैं इन सबके बीच में एक बड़ा अध्ययन सामने आया है जिसमें बताया गया है कि भारत का एक शहर ऐसा है जहां पर लोग 107 भारतीय भाषाओं का अलग-अलग रूप से इस्तेमाल करते हैं।

2011 में हुए जनगणना के आंकड़ों के मुताबिक दो शिक्षाविदों द्वारा एक विश्लेषण तैयार किया गया जिसमें यह पाया गया है कि भारत के बेंगलुरु शहर में वहां के लोग 107 से भी ज्यादा अलग-अलग भाषाओं का इस्तेमाल करते हैं।

इसका कारण यही है कि बेंगलुरु जैसे शहर में जिससे भारत का सिलिकॉन वैली और इनफार्मेशन टेक्नोलॉजी वाला शहर कहते हैं वहां पर देश भर के अलग-अलग हिस्सों से लोग पहुंचते हैं वहां पर जॉब की अपॉर्चुनिटी सुने मिलती है और इसी के कारण वहां पर 107 से भी ज्यादा भाषाएं बोली जा रही हैं।

107 भाषाओं के साथ बेंगलुरु के 44.5% लोग कन्नड़, 15% तमिल, 14% तेलुगु, 12% उर्दू, 6% हिंदी और 3% मलयालम बोलते हैं। वहीं, नागालैंड का दीमापुर और असम का सोनितपुर अन्य ज़िले हैं जहां 100 से अधिक भाषाएं बोली जाती हैं।

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