टोक्यो पैरालिंपिक्स में बुलंद हौसले के साथ भारत के पैरा एथलीट प्रवीण कुमार ने एक और सिल्वर मैडल देश के नाम कर दिया है। उन्होंने ये कामयाबी पुरुषों के T44 हाई जंप स्पर्धा में हासिल की। इस पैरालिंपिक में भारत अब तक 11 मैडल जीत चूकाहै। इसमें 2 गोल्ड मैडल, 6 सिल्वर और 3 ब्रॉन्ज मैडल शामिल हैं। यह पैरा खेलों में भारत का सबसे अच्छा प्रदर्शन है। भारत ने रियो 2016 में चार पदक और 1984 पैरालिंपिक में चार पदक जीते थे।


ब्रिटेन के जोनाथन ब्रूम-एडवर्ड्स ने 2.10 मीटर के साथ स्वर्ण और पोलैंड के मासीज लेपियाटो ने 2.04 मीटर के साथ कांस्य पदक जीता।

प्रवीण ने पहले 1.83 मीटर का मार्क हासिल किया और फिर 1.88 मीटर का विकल्प चुना, जिसे उन्होंने अपने पहले प्रयास में ही पास कर लिया। इसके बाद उन्होंने 1.93 मीटर और 1.97 मीटर मार्क हासिल किए।

प्रवीण अपने पहले प्रयास में 2.01 मीटर की दूरी तय करने में विफल रहे लेकिन दूसरे प्रयास में इसे हासिल कर लिया। इसके बाद उन्होंने अपनी पहली छलांग में 2.04 मीटर की दूरी तय की। अगला क्लीयरेंस उनकी पहली छलांग से 2.07 मीटर पर आया। फिर बार को 2.10 मीटर तक बढ़ा दिया गया, जिसे प्रवीण सभी 3 प्रयासों में पास करने में विफल रहा।

इस साल की शुरुआत में, प्रवीण ने विश्व पैरा एथलेटिक्स जीपी में 2.05 मीटर की छलांग के साथ स्वर्ण पदक जीता, जो एक नया एशियाई रिकॉर्ड है। 18 वर्षीय ने 2019 जूनियर विश्व पैरा एथलेटिक्स चैंपियनशिप में कांस्य पदक जीता है।

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