ऐसा लग रहा है कि महामारी संकट में भी एक पार्टी एक पार्टी दूसरे पार्टी को निचा दिखने में लगी है बात के उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार की तो प्रवासी मजदूरों के मुद्दे पर कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा को नीचा दिखाने पर तुली है, योगी आदित्यनाथ ने कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी को पत्र लिखकर कहा है कि अगर बसों को लखनऊ नहीं पहुंचाया जा सकता है तो नोएडा और गाज़ियाबाद पहुंचा दें, यूपी सरकार ने कहा है कि प्रियंका गांधी ये बसें स्थानीय प्रशासन के हवाले कर दें।

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यूपी सरकार ने एक पत्र लिख कर प्रियंका गांधी को कहा है , ''आपके पत्र के अनुसार आप लखनऊ में बस देने में असमर्थ हैं और नोएडा, गाजियाबाद बॉर्डर पर ही बस देना चाहते हैं, ऐसी स्थिति में गाजियाबाद के जिलाधिकारी को 12 बजे तक 500 बस उपलब्ध करा दें। गाजियाबाद के जिलाधिकारी को निर्देशित किया गया है, गाजियाबाद में जिला प्रशासन द्वारा सभी बसों को रिसीव किया जाएगा और उनका उपयोग होगा.''

उत्तर प्रदेश सरकार के एक शीर्ष अधिकारी ने प्रियंका गांधी को लिखे पत्र में कांग्रेस से सभी बसों के हैंडओवर समेत गाड़ियों का फिटनेस टेस्ट और बस ड्राइवरों का लाइसेंस मंगलवार सुबह 10 बजे तक लखनऊ में जमा कराने के लिए कहा था, कांग्रेस ने रात 2 बजकर 10 मिनट पर इस पत्र का जवाब दिया.

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प्रियंका गांधी के निजी सचिव संदीप सिंह ने उत्तर प्रदेश सरकार को लिखी चिट्ठी में इस कदम को "पूरी तरह से राजनीति से प्रेरित" बताया और सवाल किया है कि राज्य की सीमा से बसों को खाली कराकर लखनऊ में औपचारिक रूप से हैंडओवर करने के पीछे क्या औचित्य है.


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