मोटरसाइकिल या कार के टायर में नार्मल हवा के बजाय नाइट्रोजन गैस भरवाने के क्या है फायदे, जरूर पढ़ें
गर्मियां अपने चरम पर है और हर एक गुजरते दिन के साथ तापमान बढ़ता ही जा रहा है। चिलचिलाती धुप में गाड़ियों के टायर फटने की भी समस्या देखने को मिलती है। गर्मियों में टायर फटना या पंचर होना आम है लेकिन ये आपके टायर की सेहत पर भी निर्भर करता है कि आप टायर में कोनसी हवा भरवाते हैं। आपको अपने मोटरसाइकिल या कार के टायर में नाइट्रोजन गैस भरवानी चाहिए। इसके कई फायदे होते हैं।
बाइक व कार के टायर में हम जो हवा भरवाते हैं उसमे नाइट्रोजन गैस भी होती है। एक मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, सामान्य तौर पर टायरों में जिस गैस का इस्तेमाल होता है, उसमें से 78 प्रतिशत तक टायर में नाइट्रोजन गैस भरी होती और 21 प्रतिशत में नॉर्मल हवा भरी होती है।
नाइट्रोजन गैस के टायर में डालने के फायदे
नाइट्रोजन गैस डालने पर इसकी मात्रा 93-95 फीसदी तक हो जाती है। इस से नमी नहीं होती क्योकिं ये ऑक्सीजन की तुलना में हलकी होती है। यह तेज स्पीड पर भी प्रेशर कम बनाती है। इस से गाड़ी का माइलेज भी अच्छा रहता है।
नॉर्मल हवा के साथ क्या हैं दिक्कतें
नॉर्मल हवा की तुलना में नाइट्रोजन लंबे समय तक टिकती है। नॉर्मल हवा के साथ ह्यूमिडिटी जैसी समस्या रहती है। इस से गाड़ियों के टायर को नुकसान होने की समस्या रहती है। टायर में लगी रिम या एलॉय व्हील पर भी इसका बुरा असर पड़ता है।