अगर आप लम्बे समय से घर और अपनी निजी ज़िंदगी में परेशानी का सामना कर रहे है। कड़ी मेहनत करने के बाद भी सफलता नहीं मिल पा रही है। जिसके कारण आप बहुत परेशान हो रहे है तो आपको बता दे की इसका कारण आपके ग्रह और नक्षत्र भी हो सकते है। इसका उपाय ज्योतिष विज्ञान के अनुसार अपने कई बाद लोगों को अपने हाथ की कलाई पर धागा बांधे हुए देखा होगा। क्योंकि हाथ में रंग-बिरंगे धागे बांधने का एक फैशन सा चल गया है। हम देखते है कि अक्सर मंदिरों में भी श्रद्धालुओं को इस तरह के धागे बांधते हुए देखा होगा। लेकिन ये बहुत कम ही लोग जानते है कि धागे भी हमारे लिए सकारात्मक ऊर्जा का निर्माण करते है।

हमें एक नई ऊर्जा प्रदान करते है। लेकिन ऐसा तभी होता है जब आप अपने इष्ट देवता के हिसाब से धागा बांधे। आपके जीवन में लम्बे समय से चल रही परेशानी को ये धागा खत्म करता है। इसके काफी अच्छे परिणाम देखने को मिल सकते है। आपको बता दे कि इस धागे को रक्षासूत्र धागा कहा जाता है। ज्योतिष के अनुसार रक्षासूत्र का काफी महत्व माना गया है। अपने देखा भी होगा पंडित भी पूजा करवाने वाले के हाथ पर पहले रक्षासूत्र का धागा बांधता है। उसके बाद आगे की पूजा प्रारम्भ करता है। खास बात यह है कि हर ग्रह और भगवान के अनुसार अलग-अलग रंग के धागे का विधान अलग बताया गया है।

ग्रह और देवता के अनुसार कौन सा रक्षासूत्र किसके लिए है महत्वपूर्ण -
शिव भगवान - शिव की कृपा और चंद्र के अच्छे प्रभाव के लिए आपको सफेद धागा बांधना चाहिए।
गणेश भगवान - गणेश जी की कृपा बनाये रखने के लिए हरे रंग का सॉफ्ट धागा बांधना चाहिए।
विष्णु भगवान - गुरु के लिए हाथ में पीले रंग का रेशमी धागा बांधना चाहिए।
लक्ष्मी माता - अगर आप शुक्र और लक्ष्मी जी की पूजा करते है तो आपको सफेद रेशमी धागा बांधना चाहिए। जिससे उनकी कृपा आप पर बनी रहेगी।
शनि भगवान - शनि की कृपा के लिए आपको नीले रंग का सूती धागा अपनी कलाई पर बांधना चाहिए।
राहु - केतु और भैरव - राहु-केतु और भैरव की कृपा बनाये रखने के लिए काले रंग का धागा बांधना चाहिए।
भगवान हनुमान - हनुमान जी की अच्छी कृपा बनाने लाल रंग का धागा अपनी कलाई पर बांधना चाहिए।

इस तरह बांधे धागा -
जिस देवता और भगवान की आप रोज़ पूजा अर्चना करते है। जो आपके लिए सबसे ज़्यादा शुभ है उस देवता के दिन पर मंदिर जा कर प्रसाद चढ़ाने के साथ ही कुछ देर के लिए पंडित से कह कर उस धागे भगवान की प्रतिमा के पैरों में रखवा दें। फिर मंदिर में पंडित से उस धागे को अपने सीधे हाथ में बंधवाएं।
इस तरह बांधा धागा आपकी परेशानी को कम करेगा और आपमें नई ऊर्जा का संचार करेगा।

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