दोस्तों, आपको बता दें हिंदू धर्म में तीर्थ यात्रा पर जाना सबसे पवित्र कार्य माना गया है। इस क्रम में यदि आप भी पहली बार वैष्णो देवी के दर्शनों को जा रहे हैं तो कुछ बातों की जानकारी आपके लिए बहुत महत्वपूर्ण साबित होगी। मतलब साफ है, यदि आप पूरे विधि-विधान से वैष्णो देवी के दर्शन करेंगे तभी इस तीर्थयात्रा का फल प्राप्त होगा। तो देर क्यों आइए जानें, वह जरूर बातें जिन्हें वैष्णो मां के दर्शन से पहले जान लेना बहुत जरूरी है।

पहला पड़ाव जम्मू
दोस्तों, बता दें कि मां वैष्णो देवी केे मंदिर तक ट्रेन, बस या फिर हवाई जहाज से पहुंच सकते हैं। मंदिर की यात्रा का पहला पड़ाव जम्मू में होता है। मंदिर तक आप टैक्सी या बस से पहुंचे क्योंकि गर्मी में भक्तों की यहां बहुत ज्यादा भीड़ हो जाती है। उत्तर भारत के कई प्रमुख शहरों से जम्मू के लिए आप को आसानी से बस व टैक्सी मिल सकती है। अन्यथा समय पूर्व ट्रेन की सीट आरक्षित करा लें।


वैष्णो देवी मंदिर की शुरुआत कटरा से
बता दें कि वैष्णो देवी मंदिर पहुंचने के लिए तीर्थयात्रा की पहली शुरूआत कटरा से होती है। जम्मू से कटरा तक की दूरी 50 किमी है। जम्मू रेलवे स्टेशन से आप बस सेवा द्वारा मात्र 2 घंटे में कटरा पहुंच सकते हैं। कटरा पहुंचकर आप थोड़ी देर आराम करें, क्योंकि इसी के बाद मां वैष्णो देवी मंदिर के लिए चढ़ाई शुरू करनी होती है। यहां से आप कभी भी मां वैष्णो देवी मंदिर के लिए चढ़ाई शुरू कर सकते हैं।

6 घंटे में दिखानी होती है पर्ची
माता के मंदिर तक पहुंचने के लिए आपको पर्ची ​कटवानी पड़ेगी। इसके लिए आपको 6 घंटे के अंदर ही फर्स्ट चेकिंग प्वॉइंट पर यह पर्ची दिखानी होगी। जानकारी के लिए बता दें कि करीब 14 मीटर खड़ी चढ़ाई के बाद ही मां वैष्णो देवी के दर्शन होते हैं। यहां तक आप घोड़े अथवा पालकी की मदद से भी पहुंच सकते हैं। इस मदद के लिए आपको 1000 से 2000 रूपए तक खर्च करने होंगे।


भैरव दर्शन जरूर करें
दोस्तों, आपको अंतिम और जरूरी बात बता दें कि वैष्णो देवी के दर्शन करने के बाद भैरव दर्शन करें। मान्यता है कि वैष्णो देवी के बाद भैरव मंदिर के दर्शन करने के बाद ही आपकी मुराद पूरी होगी। वैष्णो देवी मंदिर से भैरव मंदिर की दूरी लगभग 3 किमी है। हांलाकि सभी भक्त जब भी मां वैष्णो देवी के दर्शनों को जाते हैं, तब-तब भैरव के दर्शन जरूर करते हैं।

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