विश्व के लगभग सभी देशों नें अपनें देश की सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम रखते है। ऐसे में देश में कई खुफिया एजेंसी होती है जो देश की जानकारियों को बाहर जाने से रोकती है और इस बात का ध्यान रखती है कि कोई डेटा लीक ना हो। भारत की खुफिया एजेंसी रॉ है, जो हर समय सतर्क रहते हुए देश की सुरक्षा में लगी हुई है। आज हम आपको इसी के बारे में बताने जा रहे हैं।

रॉ एजेंट क्या है

रॉ भारत की अंतराष्ट्रीय ख़ुफ़िया एजेंसी अथवा गुप्तचर संस्था है। इसकी स्थापना देश की ख़ुफ़िया जानकारी को अपने तक रखने और अन्य देशों की ख़ुफ़िया जानकारी को इक्क्ठा करना होता है। ताकि देश को अन्य देशो के हमलों से बचाया जा सकें | इसे हिंदी में ‘अनुसंधान और विश्लेषण स्कंध’ कहा जाता है। इसकी स्थापनावर्ष 1968 में चीन की जासूसी करनें के लिए की गई थी लेकिन वर्तमान में देश की सुरक्षा में इसका महत्वपूर्ण स्थान है।

ऐसे बनें रॉ एजेंट

भारतीय रॉ विभाग में सम्मिलित होनें के लिए कोई डायरेक्ट भर्ती परीक्षा नहीं होती है। जो कैंडिडेट एक रॉ एजेंट बनना चाहते हैं उन्हें सबसे पहले रक्षा क्षेत्र या भारतीय सिविल सेवा विभाग में शामिल होना होता है। इन विभागों में अनुभव प्राप्त करने के बाद कैंडिडेट का इंटरव्यू होता है और इंटरव्यू में सेलेक्ट हो जाने के बाद उन्हें रॉ एजेंट के रूप में काम करने का मौका मिलता है।

रॉ इंडिया एजेंट और इंटेलिजेंस ऑफिसर की पोस्ट्स पर जिन कैंडिडेट्स का सेलेक्शन होता है उन्हें विदेश- भारत में कार्य करनें के लिए एक सीक्रेट एजेंट के रूप में सेलेक्ट किया जाता है।

रॉ विभाग विशेष रूप से सिविल सेवा विभाग या पुलिस विभाग में कार्यरत कर्मचारियों को उनके कार्य और बुधिमत्ता के आधार पर चयन किया जाता है लेकिन इसके अलावा भी एक रॉ एजेंट में कई गुण होने जरूरी है। जो इस प्रकार हैं-कंप्यूटर हैकिंगइंटरनेट में गति और अनस्टारिंग आदि में निपुणताविशेष कार्य कौशल

एलिजिब्लिटी

एज

कैंडिडेट की एज 19 वर्ष से 25 साल के बीच होनी चाहिए।

शैक्षणिक योग्यता

कैंडिडेट्स के पास किसी मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से स्नातक/स्नातकोत्तर डिग्री होना जरुरी है।

वैवाहिक स्थिति

कैंडिडेट का अविवाहित होना जरूरी है।

सेलेक्शन प्रोसेस

कैंडिडेट्स का सेलेक्शन रिटर्न एग्जाम, इंटरव्यू और मेडिकल एग्जाम के बाद किया जाता है।

रॉ एजेंट बनने के लिए बेसिक आवश्यकताएयदि कैंडिडेट पर किसी भी तरह का कोई आपराधिक रिकॉर्ड होता है तो उसे इस जॉब से हटाया जा सकता है। आवेदकों को ड्रग परीक्षण से गुजरना होता हैरॉ एजेंट को विदेश यात्राएं भी करनी होती है।रॉ में नौकरी प्राप्त करना अत्यंत प्रतिस्पर्धा परिपूर्ण है।

आवेदन फार्म से सम्बंधित जानकारी

अनुसंधान और विश्लेषण विंग (रॉ) की कोई वेबसाइट नहीं है, इसलिए इसके लिए अप्लाई करना कठिन है। हालांकि, उप क्षेत्र अधिकारी, कैबिनेट सचिवालय, भारत सरकार नौकरियां प्रकाशित करती हैं जिन्हे आर एंड ए के लिए भर्ती माना जाता है।

रॉ में डायरेक्ट प्रवेश

रॉ में डायरेक्ट एंट्री के लिए डिप्टी फील्ड ऑफिसर, गवर्नमेंट ऑफ़ इंडिया, कैबिनेट सेक्रेटेरिएट के फॉर्म के माध्यम से इसमें सीधे सेलेक्शन हो सकता है। इसके अलावा नेशनल अकादमी ऑफ़ एडमिनिस्ट्रेशन से एग्जाम देकर भी अनुसंधान और विश्लेषण स्कंध से जुड़ सकते है। इस से जुड़ी एग्जाम एसएससी द्वारा कंडक्ट करवाई जाती है।

सिविल सर्विसेज एग्जाम द्वारा

लाल बहादुर शास्त्री नेशनल अकादमी ऑफ़ एडमिनिस्ट्रेशन सिविल सर्विसेज की तैयारी कर रहे स्टूडेंट को रॉ के रूप में चुनते हैं। इसमें सेलेक्ट हुए कैंडिडेट्स को कुछ साइकोलॉजिकल टेस्ट के बाद 1 साल की ट्रेनिंग के लिए रखा जाता है। अभ्यर्थियों की योग्यता को देखते हुए इन्हे रॉ का हिस्सा बनाया जाता है।

डिफेन्स सर्विसेज के माध्यम से

यदि अभ्यर्थी सिविल सर्विसेज की परिक्षाओं में सफलता नहीं मिल रही है, तो आप डिफेन्स सर्विसेज के माध्यम से रॉ में प्रवेश प्राप्त कर सकते है।

इंटेलिजेंस ब्यूरो के माध्यम से

इंटेलिजेंस ब्यूरो में SA या ACIO की सीधी भर्ती होती है, इसके माध्यम से आप रॉ में जा सकते हैं।

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